चिकित्सा शिक्षा विभाग ने प्रदेश के सभी शासकीय चिकित्सा महाविद्यालयों और शासकीय दंत चिकित्सा महाविद्यालय के स्नातकोत्तर छात्रों के पाठ्यक्रम अवधि के दौरान निजी प्रेक्टिस, सेवा या नौकरी पर प्रतिबंध लगा दिया है। इसके अंतर्गत सभी चिकित्सा महाविद्यालयों और दंत चिकित्सा महाविद्यालयों के अधिष्ठाताओं और प्राचार्यों को यह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं कि स्नातकोत्तर छात्र-छात्राएं इस नियम का कड़ाई से पालन करें। सभी छात्र-छात्राओं से इस संबंध में एक शपथ पत्र प्रस्तुत करने के भी निर्देश दिये गए हैं।